MP के शिक्षक कर्मचारियों के लिए नया नियम: अब चेहरा स्कैन नहीं किया तो कटेगी सैलरी

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MP News: मध्य प्रदेश के सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की उपस्थिति दर्ज करने का तरीका पूरी तरह बदलने वाला है। अब सिर्फ रजिस्टर में हस्ताक्षर करना काफी नहीं होगा, बल्कि चेहरा स्कैन करना अनिवार्य होगा। इस नई व्यवस्था का पालन न करने पर वेतन कटौती की जाएगी। जानिए इस बदलाव से शिक्षकों और स्कूलों पर क्या असर पड़ेगा।

चेहरा स्कैन और GPS से होगी उपस्थिति

मध्य प्रदेश सरकार ने सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की उपस्थिति दर्ज करने के लिए ‘सार्थक’ एप्लिकेशन की शुरुआत की है। इस एप्लिकेशन के माध्यम से शिक्षक को स्कूल पहुंचने पर अपना चेहरा स्कैन करना होगा, जिससे उनकी उपस्थिति दर्ज होगी। एप्लिकेशन में GPS ट्रैकिंग की सुविधा भी है, जिससे यह सुनिश्चित किया जा सकेगा कि शिक्षक वास्तव में स्कूल परिसर में मौजूद हैं।

शिक्षक कर्मचारियों के लिए वेतन कटौती का प्रावधान

यदि कोई शिक्षक कर्मचारियों निर्धारित समय पर चेहरा स्कैन करके उपस्थिति दर्ज नहीं करता है, तो उसके वेतन में कटौती की जाएगी। यह कदम उन शिक्षकों पर अंकुश लगाने के लिए उठाया गया है जो बिना स्कूल आए ही उपस्थिति दर्ज कर लेते थे। लेकिन अब यह संभव नहीं होगा, क्योंकि उपस्थिति दर्ज करने के लिए स्कूल परिसर में होना अनिवार्य है।

जून में पायलट प्रोजेक्ट जुलाई से पूर्ण लागू

इस नई प्रणाली को जून महीने में पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लागू किया जाएगा। इस दौरान शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जाएगा और उनकी उपस्थिति ‘सार्थक’ एप्लिकेशन के माध्यम से दर्ज की जाएगी। यदि यह प्रयोग सफल रहता है, तो जुलाई से इसे सभी सरकारी स्कूलों में पूर्ण रूप से लागू किया जाएगा।

शिक्षकों की प्रतिक्रिया

कुछ शिक्षक इस नई व्यवस्था का स्वागत कर रहे हैं, क्योंकि इससे पारदर्शिता बढ़ेगी और अनुशासन में सुधार होगा। वहीं, कुछ शिक्षकों ने चिंता व्यक्त की है कि तकनीकी समस्याओं के कारण उनकी उपस्थिति दर्ज नहीं हो पाएगी, जिससे वेतन कटौती हो सकती है। हलाकि मध्य प्रदेश सरकार ने आश्वासन दिया है कि तकनीकी समस्याओं का समाधान किया जाएगा और शिक्षकों को आवश्यक सहायता प्रदान की जाएगी।

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सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए यह कदम सराहनीय है। इससे न केवल शिक्षकों की जवाबदेही बढ़ेगी, बल्कि छात्रों को भी नियमित शिक्षा मिलेगी। हालांकि, सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि तकनीकी समस्याओं के कारण किसी शिक्षक को अनावश्यक परेशानी न हो। उचित प्रशिक्षण और सहायता प्रदान करके इस प्रणाली को सफल बनाया जा सकता है।

शिक्षा प्रणाली में इस तरह के तकनीकी सुधार आवश्यक हैं, लेकिन उन्हें संवेदनशीलता और समझदारी के साथ लागू किया जाना चाहिए। ऐसी ही खबरों के लिए जुड़े रहें, और अपनी राय कमेंट में जरूर बताएं।

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  • Atmaram Maha Vidyalaya

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